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कटक में दुर्गा विसर्जन के दौरान हिंसा के बाद बवाल इंटरनेट बंद VHP ने बुलाया बंद
दुर्गा प्रतिमा विसर्जन में दो समुदायों के बीच झड़प के बाद ओडिशा सरकार ने कटक में इंटरनेट सेवा 24 घंटे के लिए की बंद, स्थिति तनावपूर्ण
ओडिशा के ऐतिहासिक शहर कटक में दुर्गा पूजा के विसर्जन जुलूस के दौरान शनिवार देर रात भड़की हिंसा के बाद शहर में तनाव का माहौल है। स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए राज्य सरकार ने रविवार शाम 7 बजे से लेकर मंगलवार शाम 7 बजे तक पूरे शहर में इंटरनेट और सोशल मीडिया सेवाएं 24 घंटे के लिए निलंबित कर दी हैं।
सरकार ने यह फैसला “सोशल मीडिया पर भड़काऊ संदेशों के प्रसार को रोकने” के लिए लिया है, ताकि शांति व्यवस्था बनी रहे। प्रतिबंध भारतीय तार अधिनियम 1885 की धारा 5(2) और टेलीकॉम सर्विस अस्थायी निलंबन नियम 2017 के तहत लगाया गया है।

दुर्गा विसर्जन में हुआ विवाद
हिंसा शुक्रवार रात करीब 1:30 बजे से 2:00 बजे के बीच दरगाह बाजार क्षेत्र में शुरू हुई, जब कुछ स्थानीय लोगों ने विसर्जन जुलूस में बज रहे तेज़ संगीत पर आपत्ति जताई। देखते ही देखते बहस झड़प में बदल गई और हाथी पोखरी के पास की गलियों में पत्थरबाज़ी और बोतलें फेंके जाने की घटनाएं सामने आईं।
पुलिस के मुताबिक, हिंसा में आधा दर्जन लोग घायल हुए हैं, जिनमें कटक के डिप्टी कमिश्नर ऑफ पुलिस ऋषिकेश धन्यदेव खलारी भी शामिल हैं। कई वाहनों और दुकानों को नुकसान पहुंचा है।
पुलिस ने अब तक 6 लोगों को गिरफ्तार किया है और CCTV फुटेज, ड्रोन विजुअल्स और आंखों देखे गवाहों के बयान के आधार पर अन्य आरोपियों की पहचान की जा रही है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “जिम्मेदार लोगों की पहचान की जा चुकी है, जल्द और गिरफ्तारियां होंगी।”

प्रदर्शन और पुलिस पर हमला
रविवार दोपहर दरगाह बाजार में प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच फिर से झड़प हो गई। इसमें 6 पुलिस अधिकारी, जिनमें डिप्टी कमिश्नर और थाना प्रभारी भी शामिल हैं, घायल हुए। कुछ मीडिया कर्मी भी झड़प में चोटिल हुए। हालात बिगड़ते देख पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया।
VHP ने बुलाया कटक बंद
इस घटना के विरोध में विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने सोमवार को 12 घंटे के बंद का ऐलान किया है। संगठन के प्रवक्ता ने कहा, “बार-बार चेतावनी देने के बावजूद पुलिस हालात को नियंत्रित नहीं कर सकी। हम दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हैं।”
बंद की घोषणा के बाद शहर में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। चौराहों, बाज़ारों और संवेदनशील इलाकों में पुलिस और रैपिड एक्शन फोर्स (RAF) की टीमों ने फ्लैग मार्च किया। शांति बनाए रखने के लिए धारा 144 भी लागू की गई है।
मुख्यमंत्री ने दिए सख्त निर्देश
ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण मज्ही ने हिंसा की कड़ी निंदा की है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा,
“साम्प्रदायिक सौहार्द हमारी प्राथमिकता है। दोषियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।”
रविवार शाम तक पुलिस ने शहर के दरगाह बाजार, चौधरी बाजार और मंगलाबाग इलाकों में फ्लैग मार्च जारी रखा। प्रशासन लगातार लोगों से शांति और संयम बनाए रखने की अपील कर रहा है।
कटक में यह पहली बार नहीं
ओडिशा में सांप्रदायिक तनाव के दौरान इंटरनेट सेवाएं बंद करने का यह पहला मामला नहीं है। इससे पहले संबलपुर में 2023 और बालासोर में 2024 में भी ऐसी ही घटनाओं के बाद सरकार ने अस्थायी इंटरनेट प्रतिबंध लगाए थे।
फिलहाल, कटक में माहौल तनावपूर्ण लेकिन नियंत्रण में बताया जा रहा है। पुलिस ने नागरिकों से अपील की है कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की जानकारी तुरंत प्रशासन को दें।
