Connect with us

Movies

OG मूवी रिव्यू पवन कल्याण की स्टाइलिश एंट्री लेकिन कहानी में दम नहीं

सुजीत के निर्देशन में बनी पवन कल्याण की फिल्म ‘OG’ विजुअली ग्रैंड और म्यूज़िक से भरपूर है, मगर कहानी कमजोर पड़ती दिखती है।

Published

on

OG Movie Review: पवन कल्याण की स्टाइलिश एंट्री लेकिन कहानी में कमी
‘OG’ में पवन कल्याण का दमदार अंदाज़, स्टाइल पर भारी पड़ी कमजोर कहानी।

तेलुगु सिनेमा के पावर स्टार पवन कल्याण लंबे इंतज़ार के बाद फिल्म ‘OG (They Call Him OG)’ के साथ बड़े पर्दे पर लौटे हैं। डायरेक्टर सुजीत, जो पहले से ही अपने स्टाइलिश नैरेटिव और एक्शन ड्रामा के लिए जाने जाते हैं, इस बार पूरी तरह फैन-सर्विस मोड में नज़र आए।

कहानी की झलक

फिल्म का नायक ओजस गंभीर उर्फ़ ओरिजिनल गैंगस्टर (पवन कल्याण), वर्षों बाद वापसी करता है। उसका मकसद अपने परिवार और शहर को बचाना है। लेकिन यह गैंगस्टर थीम पहले भी कई फिल्मों में देखी जा चुकी है। दर्शकों को नया कुछ खास नहीं मिलता, बस स्टाइल और प्रेज़ेंटेशन से इसे चमकाने की कोशिश की गई है।


स्टाइल और टेक्निकल टीम का जादू

फिल्म की सबसे बड़ी ताकत इसकी विजुअल अपील है। सिनेमैटोग्राफर रवि के चंद्रन और मनोज परमहंस ने बेहतरीन फ्रेम्स दिए हैं। एस थमन का बैकग्राउंड स्कोर फिल्म को ऊर्जा देता है। प्रोडक्शन डिजाइनर एएस प्रकाश और एडिटर नवीन नूली ने भी फिल्म को विजुअली रिच बनाने में योगदान दिया।

फैन सर्विस का ओवरडोज़

फिल्म में कई डायलॉग्स और सीक्वेंस सिर्फ पवन कल्याण के फैंस के लिए डिज़ाइन किए गए लगते हैं। जैसे एक डायलॉग – “जब तूफान आए तो झुकना पड़ता है, लेकिन जब OG आए तो छिपना पड़ता है।” यह लाइन भले ही बहुत गहरी न हो, लेकिन पवन कल्याण का अंदाज़ इसे वज़नदार बना देता है।

क्या कमी रह गई?

फिल्म देखने के दौरान यह साफ़ हो जाता है कि निर्देशक ने पूरी कोशिश पवन कल्याण को ‘स्टाइलिश गैंगस्टर’ दिखाने में कर दी, लेकिन कहानी की गहराई पर ज्यादा मेहनत नहीं की। ड्रामा और इमोशनल एंगल की कमी दर्शकों को थोड़ा अधूरा अनुभव देती है।

og 1758767872


किसे देखनी चाहिए यह फिल्म?

अगर आप पवन कल्याण के कट्टर फैन हैं, तो यह फिल्म आपको बड़े परदे पर उनकी एनर्जी और स्टाइल का डोज़ देगी। लेकिन अगर आप दमदार कहानी और ट्विस्ट-टर्न्स की तलाश में हैं, तो शायद यह फिल्म आपको निराश करे।
For more Update http://www.dainikdiary.com