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महिला विश्व कप 2025: इंग्लैंड को धूल चटाकर फाइनल में पहुंचा साउथ अफ्रीका, नेट सेशन की ‘दहशत’ बनी प्रेरणा

मैच से पहले नेट प्रैक्टिस में 10 विकेट गंवाने वाला साउथ अफ्रीका, इंग्लैंड पर जीत के साथ इतिहास रचते हुए पहली बार महिला वनडे विश्व कप फाइनल में पहुंचा।

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Women’s World Cup 2025: South Africa defeats England to reach maiden ODI final
साउथ अफ्रीका की महिला टीम ने इंग्लैंड को हराकर पहली बार वनडे विश्व कप के फाइनल में जगह बनाई।

गुवाहाटी के एसीए स्टेडियम में इंग्लैंड के खिलाफ सेमीफाइनल से पहले दक्षिण अफ्रीका महिला टीम का माहौल कुछ और ही था। दो दिन पहले हुए नेट सेशन में टीम ने महज दो ओवरों में अपने सभी 10 विकेट खो दिए थे। खिलाड़ियों का आत्मविश्वास टूट चुका था, लेकिन यही झटका उनके लिए सबसे बड़ी प्रेरणा बन गया।

ऑलराउंडर मरिज़ाने कप ने बताया, “यह मेरे करियर का सबसे खराब नेट सेशन था। मैं रो पड़ी थी। लेकिन कोच ने कहा – अपनी विकेट की कीमत समझो। और वही सीख हमारे काम आई।”

कप, जिन्होंने मैच में 33 गेंदों पर 42 रन और पांच विकेट लिए, ने टीम की वापसी की कहानी खुद बयां की। उन्होंने कहा, “हम जानते थे कि हमें सिर्फ क्रिकेट पर नहीं, अपने संयम पर ध्यान देना है। यह सेशन हमें फिर से जोड़ गया।”

ताजमिन ब्रिट्स, जिन्होंने संघर्षपूर्ण लेकिन महत्वपूर्ण 45 रन बनाए, ने भी खुलासा किया कि कोच बाकीर अब्राहम्स ने खिलाड़ियों को झकझोरा था – “तुम लोग बस स्विंग कर रहे हो, क्रिकेट नहीं खेल रहे।” यही पल टीम के लिए टर्निंग पॉइंट साबित हुआ।


🇿🇦 ऐतिहासिक प्रदर्शन और आत्मविश्वास की वापसी

सेमीफाइनल में इंग्लैंड को हराकर दक्षिण अफ्रीका ने इतिहास रच दिया — पहली बार महिला वनडे विश्व कप के फाइनल में प्रवेश। इससे पहले टीम ने 2023 और 2024 में लगातार दो टी20 विश्व कप फाइनल खेले थे।

टीम की कप्तान लॉरा वोल्वार्ड्ट (169 रन, 143 गेंदें) का प्रदर्शन असाधारण रहा। उन्होंने मैच के बाद कहा, “हमने सीखा कि अगर शुरुआत में विकेट गिरें, तो भी लक्ष्य यथार्थवादी रखें। हमें सिर्फ स्कोर नहीं, स्थिति पढ़नी थी।”

वोल्वार्ड्ट ने आगे कहा, “हम भावनात्मक टीम हैं, पर अब हमने परिपक्वता सीख ली है। मुझे अपने आंकड़े पसंद हैं, लेकिन इस बार मैं सिर्फ टीम के लिए खेली।”

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कप और ब्रिट्स – अनुभव और जोश की साझेदारी

कप और ब्रिट्स की जोड़ी ने दक्षिण अफ्रीका की पारी को स्थिरता दी। दोनों ने 40वें ओवर तक टिकने की रणनीति बनाई, जिसके बाद उन्होंने खुलकर खेलना शुरू किया। कप ने बताया, “हम जानते थे कि हमारे पास ट्रायन और डे क्लर्क जैसी पावर हिटर्स हैं। इसलिए हमने सिर्फ समय निकालना चाहा।”

कप ने इंग्लैंड के खिलाफ अपने पहले ही ओवर में दो विकेट लेकर मैच की दिशा तय कर दी और अंत में पांच विकेट झटके। मैच के बाद उन्होंने कहा, “हमने कई बार सेमीफाइनल गंवाए हैं, लेकिन इस बार अनुभव ने काम किया। यह सिर्फ क्रिकेट नहीं, हमारे देश के लिए खेला गया जज्बा था।”


‘ये लिखा था किस्मत में’ – भावनाओं का तूफ़ान

अंतिम इंग्लिश विकेट गिरते ही कुछ खिलाड़ी जैसे नोनकुलुलेको म्लाबा और डे क्लर्क जमीन पर गिरकर रोने लगीं। कप ने भी डगआउट में कोच मंदला मशिम्बयी को गले लगाते हुए कहा, “ये ऊपरवाले ने लिखा था।”

ब्रिट्स ने स्वीकार किया, “लोग कहते रहे इंग्लैंड हमें हर बार हराता है। यह सुनकर तकलीफ होती थी। हम भी इंसान हैं, सुपरहीरो नहीं। असफलता भी क्रिकेट का हिस्सा है।”


इतिहास रचने की ओर एक कदम और

दक्षिण अफ्रीका अब फाइनल में पहुंच चुका है और ऑस्ट्रेलिया से खिताबी भिड़ंत तय है। टीम की यह उपलब्धि सिर्फ एक जीत नहीं, बल्कि वर्षों के संघर्ष का परिणाम है।

ब्रिट्स ने कहा, “हमने पहले ही इतिहास बना दिया है। चाहे नतीजा कुछ भी हो, हमने एक नई पीढ़ी को प्रेरणा दी है।”

कप ने अंत में कहा, “यह आखिरी विश्व कप हो सकता है हमारे लिए, इसलिए हमने ठान लिया था – अबकी बार कुछ बड़ा करना है।”

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